भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।
इकर कना काम हे हमला झन खिसियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
परसराम बर झन रिसियाबे धनुष ला मँय हा कटोरे हँव ।
गलती हे मोर जानथे वोहा तभे हाथ ला जोरे हँव ।
धनुष यज्ञ मा काम हा बनही झन ततियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
राजा जनक बर झन घुँसियाबे जुरही वोकर संग नाता ।
धनुष हा मोरे हांथ ले टुटही लिखे हावय विधाता ।
सीता बनही तोर भउजाई झन अगियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
झन घुँसियाबे माता कैयकई बर हरय हमर मन के माता
धरती के भार उतारे खातिर होइस हवय बनवासा ।
अंधी अंधा के श्राप लगे हे पिता ला झन गुंगुवाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
झन घुँसियाबे तँय सागर बर लंका हे हमला जाना ।
जानकी हावय रावन के कैद में जाके हमला हे लाना।
घुँसियाये ले काम बिगड़थे चुप रहि जाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
फन हजार हे शेष नांग के लखन ओकर अंवतारी ।
साँप के गुण हे फुँफकारे इही ऊँकर चिन्हारी ।
राम चरन मा भाई लक्ष्मण करिस तपस्या ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।
इकर कना काम हे हमला झन खिसियाबे ।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
केवरा यदु "मीरा "
राजिम
इकर कना काम हे हमला झन खिसियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
परसराम बर झन रिसियाबे धनुष ला मँय हा कटोरे हँव ।
गलती हे मोर जानथे वोहा तभे हाथ ला जोरे हँव ।
धनुष यज्ञ मा काम हा बनही झन ततियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
राजा जनक बर झन घुँसियाबे जुरही वोकर संग नाता ।
धनुष हा मोरे हांथ ले टुटही लिखे हावय विधाता ।
सीता बनही तोर भउजाई झन अगियाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
झन घुँसियाबे माता कैयकई बर हरय हमर मन के माता
धरती के भार उतारे खातिर होइस हवय बनवासा ।
अंधी अंधा के श्राप लगे हे पिता ला झन गुंगुवाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
झन घुँसियाबे तँय सागर बर लंका हे हमला जाना ।
जानकी हावय रावन के कैद में जाके हमला हे लाना।
घुँसियाये ले काम बिगड़थे चुप रहि जाबे ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
फन हजार हे शेष नांग के लखन ओकर अंवतारी ।
साँप के गुण हे फुँफकारे इही ऊँकर चिन्हारी ।
राम चरन मा भाई लक्ष्मण करिस तपस्या ना।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।
इकर कना काम हे हमला झन खिसियाबे ।।
भाई मोर लक्ष्मण झन घुँसियाबे ना ।।
केवरा यदु "मीरा "
राजिम
